प्रेरणादायक विचार

छोटी-छोटी बातों में आनंद खोजिए

0
(0)

आनंद पर सुविचार स्टेटस कोट्स

छोटी-छोटी बातों में;
आनंद खोजना चाहिए,
क्योंकि बड़ी-बड़ी बातें तो;
जीवन में कुछ ही होती हैं।

आनंद पर सुविचार – अफसोस नहीं, आनंद में दिन गुजारें

आनंद पर सुविचार - छोटी-छोटी बातों में आनंद

यदि किसी भूल के कारण;
कल का दिन दु:ख में बीता है;
तो उसे याद कर आज का दिन;
व्यर्थ में न बर्बाद करो।
स्वामी विवेकानंद

छोटी-छोटी खुशियों को जोश से मनाएँ

छोटी-छोटी खुशियों को;
पूरे मन से और जोश से मनाएँ,
इससे जीवन में उत्साह बना रहता है ।

छोटी-छोटी बातों से मन छोटा न करें

कभी पीठ पीछे आपकी बात चले तो;
घबराना नहीं;
क्योंकि बात तो उन्हीं की होती है;
जिनमें वाकई कोई बात होती है।
कर्मों की आवाज शब्दों से भी ऊँची होती है।

आनंद पर सुविचार

यह आवश्यक नहीं कि;
हर लड़ाई जीती ही जाए।
आवश्यक तो यह है कि;
हर हार से कुछ सीखा जाए।

छोटी-छोटी बातों को व्यवहार में लाएँ

छोटी-छोटी बातों का आनंद - छोटी-छोटी बातों में आनंद

जीवन में परेशानियाँ;
चाहे जितनी भी हों,
चिंता करने से;
और बड़ी हो जाती हैं,
खामोश होने से;
काफी कम हो जाती हैं,
सब्र करने से;
खत्म हो जाती हैं,
और;
परमात्मा का शुक्र करने से;
खुशियों में बदल जाती हैं ।

बात मन में दबाए न रखें;
व्यर्थ में चिंता बढ़ेगी।
मनोभावों को शांत-सहज भाव में व्यक्त करें;
बिगड़ी बात बन जाएगी।

जिंदगी की भाग-दौड़ के बीच से
छोटी-छोटी खुशियाँ
चुराना सीखिए ।

आनंद पर सुविचारछोटी-छोटी बातों का आनंद

छोटी-छोटी बातों का
आनंद उठाइए क्योंकि हो सकता है
कि किसी दिन आप मुड़ कर देखें,
तो आपको अनुभव हो कि
ये तो बड़ी बातें थीं।

कार्य व्यवहार में ‘क्यों’ को ‘क्यों नहीं’ में
बदलने की कला सीखिए
सकारात्मक सोच
हमेशा प्रगति की ओर जाती है ।

विनम्रता पूर्वक व्यवहार करें,
कुंठा से बचें,
क्योंकि इससे हम आक्रामक बनते हैं;
और अवसाद में चले जाते हैं ।

किसी शांत और विनम्र व्यक्ति से
अपनी तुलना करके देखिए,
आपको लगेगा कि,
आपका घमंड निश्चय ही  त्यागने जैसा है।

आसपास की छोटी-छोटी बातों से सीखें

जहाज समंदर के किनारे सर्वाधिक सुरक्षित रहता है,
मगर क्या आप नहीं जानते कि;
उसे किनारे के लिए नहीं;
बल्कि समंदर के बीच में जाने के लिए बनाया गया है ?

आनंद पर सुविचार - छोटी-छोटी बातों में आनंद

जब तालाब भरता है;
तब मछलियाँ चीटियों को खाती हैं;
और जब तालाब सूखने लगता है;
तब चीटियाँ मछलियों को खाती हैं;
यानि प्रकृति सभी को;
कभी न कभी मौका जरूर देती है;
बस अपनी बारी का इंतजार करो।

How useful was this post?

Click on a star to rate it!

Average rating 0 / 5. Vote count: 0

No votes so far! Be the first to rate this post.

Show More
Back to top button

Adblock Detected

Please turn off the Ad Blocker to visit the site.